मंगलवार, 16 मार्च 2010


ये मित्र अभी नए नए बने है जो की हमेशा ही तेज वाणी व् अपनी ही बातो को प्राथमिकता ही देते है इनकी बातो को जो नहीं मानता है वे इनके प्रतिशोध से नहीं बच सकते और इनमे इतना तेज़ है की सामने वाले व्यक्ति को अपने विचारो से भ्रमित कर लोगो में अपना रुतबा कायम करने में सफल रहते है और कोई भी व्यक्ति इनके विचारो में बदलाव करना चाहे तो वे बेहद नाराज़ होकर तेज़ वाणी से प्रहार करते है इसलिए इसे न ही छेड़े ?

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